आज हम आपको ऐसे शक्तिशाली मंत्र बताएंगे जिसके द्वारा आप किसी भी प्रकार के बुखार को आसानी से ठीक कर पाएंगे जिनको बुखार उनसे छूटने का नाम ही नहीं लेता वे बुखार से बहुत परेशान रहते हैं


और यह समस्याएं बढ़कर बड़ी हो जाती हैं इस बुखार को ठीक करने के लिए हिंदू धर्म ग्रंथो में मत्रों का सहारा लेकर बुखार ठीक किया जाता है 


ऐसे ही बुखार उतारने का साबर मंत्र बताएंगे जिसके द्वारा आप किसी भी प्रकार का बुखार ज्वार हो आप उसे इस मंत्र के द्वारा आसानी से उतार पाएंगे इसका प्रयोग आप विधि अनुसार नियम से करें तो इसका असर जल्दी देखने को मिलेगा ऐसे हम आपको तीन मंत्र बताएंगे जिसके द्वारा आप बुखार को जल्दी से उतार पाएंगे चलिए जानते हैं


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बुखार उतारने का मंत्र


1.मंत्र है: पंचात्माय स्वाहा।  इस मंत्र से 21 बार चोटी को मंत्रित करके चोटी में गांठ लगाने से बुखार तुरंत उतर जाता है


2. मंत्र है: याह फीजन, याह फीजन, याह फीजन।  नीम के ढाई पत्ते लेकर उस पर ऊपर लिखा मन्त्र सात बार पढकर ओर फूँककर उन ढाई पत्तों को मसल व कुचलकर खाने के बँगला या कपूरी पान में रखकर रोगी को ज्वर आने के रोज नियत समय से आधा या एक घण्टा पूर्व बताये गये पान को खिला दे। यदि जीर्ण ज्वर का रोगी हो तो मन्त्र पढ़ना चाहिये। इस तरह इस मन्त्र का 24 घण्टे में ज्वर पर प्रभाव पड़ता है। इसके खिलाने से ज्वर क्रमश: घटता जाता हैं ओर अन्त में उतर जाता है एवं रोगी को आराम हो जाता हैं।


3. मंत्र है:  ॐ भूर्भुवः स्वः तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात्। प्रयोग नदी के किनारे अथवा मरीज की चारपाई के पास जल पास में रखकर आम की समिधायें हवन में लगाकर अग्नि प्रज्वलित करें और गायत्री मन्त्र उच्चारण करें। हर मन्त्र के साथ आम के पत्ते दूध में भिगोकर आहुति दें। इस प्रकार 108 आहुति डालें। ऐसा कई दिन करें तो ज्वर शान्त हो जायेगा।

1. Rog nashak mantra।असाध्य रोग नाशक मंत्र

बुखार उतारने का मंत्र क्या है?

मंत्र है: ॐ पंचात्माय स्वाहा। इस मंत्र से 21 बार चोटी को मंत्रित करके चोटी में गांठ लगाने से बुखार तुरंत उतर जाता है